देवों  के देव भगवान महादेव का प्रिय महीना सावन चल रहा है। सावन में भी सोमवार के  दिन का खास महत्व होता है। कल सावन का पहला सोमवार है। इसके साथ ही सावन शिवरात्रि है। ऐसे में भगवान भोलेनाथ के भक्तों के लिए 18 जुलाई 2022 का दिन बेहद खास रहने वाला है। इस दिन शिव मंदिरों में भारी भीड़ देखने  को मिल रही है। वैसे तो बहुत से लोग सावन में  पूरे महीने भगवान शिव का जलाभिषेक करते हैं बिल्वपत्र चढ़ाते, चंदन लगाते हैं, धतूरा, भांग और दूध भी चढ़ाते हैं। लेकिन जो रोज शिव मंदिर नहीं जा सकते वे लोग सोमवार को निश्चित रूप से मंदिर जाने और भगवान शिव का अभिषेक करते हैं। कुछ लोग सावन सोमवार का व्रत भी रखते हैं।

आज देवभूमि उत्‍तराखंड के मंदिरों में जलाभिषेक कर श्रद्धालु सुख-समृद्धि की कामना कर रहे हैं। देहरादन के ऐतिहासिक टपकेश्वर महादेव मंदिर के साथ अधिकांश मंदिर सुबह चार बजे से श्रद्धालुओं के लिए खोले गए। श्रद्धालुओं को किसी भी तरह की परेशानी न हो इसके लिए सेवादार तैनात हैं। देर शाम तक मंदिरों में व्यवस्था बनाने की तैयारी के साथ ही फूल और रंग बिरंगी लाइटों से सजाया गया हैं। कांवड़ लेकर हरिद्वार पहुंचे कावड़ यात्री भी जलाभिषेक के लिए मंदिर पहुंचे हैं। हरिद्वार के मंदिरों में भारी भीड़ हैं। हरकी पैड़ी पर भी भक्‍तों की जबरदस्‍त भीड़ है।

मान्यता है कि भगवान शिव की पूजा सच्चे मन से करता है उसकी मनोकामनाएं जल्दी पूरी होती है। इसके साथ ही कन्याओं को सुयोग्य वर प्राप्ति का भी आशीर्वाद मिलने की मान्यता है। इस महीने में भगवान शिव की विशेष पूजा की शुरुआत उनके अभिषेक के साथ होती है। उत्तराखंड विद्वत सभा के प्रवक्ता आचार्य बिजेंद्र प्रसाद ममगाईं के अनुसार, सावन महीना और इसमें सोमवार के दिन शिव की पूजा के लिए बेहद शुभ माना जाता है, श्रद्धालुओं व्रत धारण कर इस दिन जलाभिषेक करते हैं। धार्मिक क्षेत्र के साथ ही सावन का प्रकृतिसे भी गहरा संबंध है। क्योंकि इस महीने में वर्षा ऋतु होने से पूरी धरती हरी भरी हो जाती है।

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